हिंदी दिवस पर कविताएं (Poems On Hindi Diwas): प्रसिद्ध हिंदी कवियों की हिंदी दिवस पर कविता पढ़ें

हिंदी दिवस पर कविताएं, हिंदी भारत की सबसे प्रमुख भाषा है और इसे देश की राष्ट्रीय भाषा का भी दर्जा प्राप्त है। अगर हम भारत जैसे देशो मे हिंदी भाषा के विस्तार की बात करें तो देश के आधे से अधिक राज्यों मे हिंदी भाषा को ही बोल-चाल के रूप के प्रयोग किया जाता है।  हिंदी भाषा को इसलिए देश की सर्वोच्च भाषा का स्थान प्राप्त भी है। इतना ही नहीं हिंदी भाषा का इतिहास बहुत विस्तृत भी है और पुराना भी है क्योंकि हिंदी भाषा का व्याकरण बहुत ही बड़ा है इतना ही नहीं हिंदी मे बहुत सारी कहानियाँ, उपन्यास, निबंध और कविताओं का बहुत बड़ा विवरण है।

हिंदी दिवस पर कविताएं (Poems On Hindi Diwas): प्रसिद्ध हिंदी कवियों की हिंदी दिवस पर कविता पढ़ें

इसलिए इन सभी बातों को ध्यान मे रखते हुए भारत मे हर वर्ष 14 सितम्बर को हिंदी दिवस मनाया जाता है और इसी उपलक्ष्य मे इस दौरान सभी स्कूलो मे कविता वाचन जैसे सांस्कृतिक कार्यक्रम का आयोजन भी होता है। जिसके उपलक्ष्य मे अनेक विद्यार्थी कविताएं भी गाते है लेकिन अच्छी कविताओं का संग्रह उनके पास नहीं रहता है। तो इस लेख मे हम आपकी इन्ही समस्याओ का समाधान करने वाले है जिससे आपको कविताओं के लिए यहाँ-वहाँ ज्यादा परेशान नहीं होना पड़ेगा। इस लेख मे हम आपको हिंदी दिवस के अवसर गाने के लिए बेहतरीन कविताओं को बताने वाले है जिसको आप अपने नोटबुक मे भी लिख सकते है, तो चलिए शुरु करते है।

हिंदी दिवस पर कविता नम्बर – 1

यह कविता भारत मे हिंदी दिवस के लिए सबसे प्रचलित कविताओं मे से एक है, इस कविता को ध्यान से पूरा जरूर पढ़े।

संस्कृत की एक लाडली बेटी है यह हिंदी।

बहनों को साथ लेकर चलती है यह हिंदी।

सुंदर है, मीठी है, मनोरम है,सरल है,

ओजस्विनी है पुरानी ठीक है यह हिंदी।

पाथेय हे, प्रवास मे, परिचय का सूत्र है,

मैत्री को जोड़ने की सांकल है यें हिंदी।

पढ़ने और पढ़ाने में सहज है, यें सुगम है,

साहित्य का असीम सागर है यह हिंदी।

तुलसी, कबीर और मीरा ने इसमें ही लिखा है,

कवि सुरु की सागर की गागर है यें हिंदी।

वागेश्वरी का माथे पर वरदहस्त है,

निश्चय ही वंदनीय माँ-सम है यें हिंदी।

अंग्रेजी से भी इसका कोई बैर नहीं है,

उसको भी अपने पन मे लुभाती है यें हिंदी।

यूं तो देश मे कई भाषाएँ और है,

पर राष्ट्र के माथे की बिंदी है यें हिन्दी।

हिंदी दिवस पर कविता नम्बर – 2

हिंदी दिवस पर अगर आपका कविता वादन करना चाहते ब तो यह कविता इस कविता को गाकर आप सभी को अपनी और आकर्षित कर लेंगे, इसको अच्छे से अंत तक जरूर पढ़े।

मैं भारत माँ के मस्तक पर सबसे चमकीली बिंदी हूँ,

मैं सबकी जानी पहचानी भारत की भाषा हिंदी हूँ।

मेरी बोली में मीरा ने मनमोहक काव्य सुनाया है,

कवि सूरदास के गीतों में मैंने कम मान न पाया है।

तुलसीकृत रामचरितमानस मेरे मुख में चरितार्थ हुयी,

विद्वानों संतों की वाणी गुंजीत हुई, साकार हुयी।

भारत की जितनी भाषाएं सब मेरी सखी सहेली है,

हम आपस में क्यों टकराये हम बहने भोली भाली है।

सब भाषा के शब्दों को मैंने गले लगाया है,

इसलिए भारत के जन-जन ने मुझे अपनाया है।

मैंने अनगिनत फिल्मो मे खूब धूम मचाई है,

इसलिए विदेशियों ने भी अपनी प्रीति दिखाई है।

सीधा-साधा रूप ही मेरा सबके मन को भाता है,

भारत के जनमानस से मेरा सदियों पुराना नाता है।

मैं भारत मां के मस्तक पर सबसे चमकीली हिंदी हूँ,

मैं सब की जानी पहचानी भारत की भाषा हिंदी हूँ।

हिंदी दिवस पर कविता नम्बर – 3

जो इस कविता को हम नीचे बताने वाले है वह आपको हमारी देश की भाषा हिंदी के प्रति प्रेम बढ़ाने वाली है जिससे हम अपनी मातृभाषा के सम्मान को और अधिक बढ़ावा दें सकते है।

अंग्रेजी मे थोड़े नम्बर कम आते है,

अंग्रेजी बोलने से भी कतराते है,

पर स्टाइल के लिए पूरी जान लगाते है,

क्योंकि हम हिंदी बोलने मे शर्माते है,

एक वक्त था जब हमारे देश मे हिंदी का बोल-बोला था,

माँ की आवाज़ मे भी सुबह का उजाला था,

उस माँ को भी हम mom बुलाते है,

क्योंकि हम हिन्दी बोलने मे शर्माते है,

देश आंगे बढ़ गया पर हिंदी पीछे रह गयी,

इस भाषा से हम अब नज़र चुराते है,

क्योंकि हम हिंदी बोलने से शर्माते है,

माना, अंग्रेजी पूरी दुनिया को चलाती है,

पर हिंदी भी तो हमारी पहचान पूरी दुनिया मे कराती है,

क्यों ना अपनी मातृभाषा को फिर से सराखो पर बिठाये,

आओ मिलकर हम सब हिंदी दिवस मनाये।

हिंदी दिवस पर कविताएं

हिंदी दिवस पर कविता नम्बर – 4

हिंदी दिवस के अवसर पर यह कविता को गाने से आप मे अपने जलवे बिखेर सकते है क्योंकि यह बहुत कविता आपको हमारी भाषा हिंदी के प्रति उत्साह को बड़ा देगी।

चलो आज कुछ लिख लेते है,

जो भारत की शान है हिंदी,

भारतीयों का स्वाभिमान है हिंदी,

संस्कृत की संतान है हिंदी,

भूल गए हम हिंदी के उस अमूल्य योगदान को,

जिसने दी आज़ादी, बचाया हमारी पहचान को।

उस हिंदी का सम्मान करें,

केवल आज नहीं हर बार करें,

नमन करें उसकी महिमा को,

नमन करें उसकी आत्मा को,

और हिंदी का प्रचार करें।

निज भाषा प्रगती के लिए जन-जन मे को तैयार करें,

कव्यों की हर पंक्ति की अद्भुत-अटूट जान है हिंदी,

कवियों की भाषा मे ईश्वर का सम्मान है हिंदी,

            भारत की पहचान है हिंदी 🇮🇳

हिंदी दिवस पर कविता नम्बर – 5

हिंदी दिवस के अवसर पर यह एक बेहतरीन कविता है जो लोगों मे काफ़ी लोकप्रिय है.

हिंदी भाषा के सम्मान को सजाते,

हिंदी दिवस को यहाँ मनाते।

सुनहरा वर्णन, बहुभाषी भाषा,

हिंदी जगत की आभूषण राष्ट्रीय भाषा।

विश्व में बढ़े हिंदी की पहचान,

रचनाकारों की महिमा है अमर कहानी।

अपनी भाषा में है गर्व हमें,

हिंदी है राष्ट्र की शान सच्ची।

संस्कृति और सभ्यता का आधार,

हिंदी हमारी प्रिय भाषा संसार।

भावों का साकार, बोलचाल की मिसाल,

हिंदी के सुनहरे शब्द हैं अमृत विषाल।

हिंदी दिवस के अवसर पर यही कहना है,

हर दिन हिंदी में बोलना अच्छा।

भाषा के माध्यम से बढ़े भाईचारा,

हिंदी को सदा समर्थ बनाएं प्रचारा।

निष्कर्ष

तो दोस्तों आज हमने इस लेख मे आपको हिंदी दिवस के लिए पांच सबसे बेहतरीन कविताओं को बताया है जो लोगों द्वारा बहुत ज्यादा पसंद की जाती है। यह स्कूल मे और अन्य संस्थानों मे गायन के लिए एक अच्छी कविता की भूमिका आपके लिए निभाती है।

आशा करता हू आपको हमारे द्वारा बताई गयी यें कविताएं पसंद आयी होंगी और इन्हे आप जरूर अपनाएंगे। आपको यह कविता कैसी लगी कमेंट करके हमें जरूर बताये साथ ही इसे अपने दोस्तों के साथ शेयर भी करें।

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